Unified Pension Schem : भारत में सरकारी नौकरी करना एक भारतीय नागरिक का सबसे बड़ा सपना और ड्रीम जॉब होती है। जिसका फायदा यह होता है कि कर्मचारी को परमानेंट जॉब और सेवा निवृत्ति होने के बाद मिलने वाली पेंशन।
यह पेंशन को लेकर दो दशकों से Pension System में काफी बदलाव देखने को मिला है वर्तमान में NPS System प्रभावी है। लेकिन बीते वर्षों में OPS System लागू था। और साल 2025 में UPS System (Unified Pension Scheme) लागू किया गया है। जिसका मतलब होता है फ्रेश न्यू यूनिफाइड पेंशन स्कीम। यह स्कीम के लागू होने से एक नए युग का आगाज होगा जिसमें कर्मचारियों को रिलीफ मिलेगी क्योंकि यह पुरानी दोनों पेंशन स्कीमों का बेजोड़ है।
What Is Unified Pension Scheme:
Fresh New Unified Pension Scheme (UPS) को इस वजह से लागू किया गया है क्योंकि सरकारी कर्मचारियों की मांग थी पुरानी पेंशन स्कीम एनपीएस मार्केट रिस्क ज्यादा था और उसमें गारंटीड महीने की पेंशन का भरोसा नहीं था इसके चलते सरकार ने इसमें बदलाव करते हुए हाइब्रिड मॉडल को लागू किया जिसके चलते इसमें गारंटीड पेंशन और मदद देने वाला माना गया है। जो सभी रिटायर हो चुके कर्मचारियों को समानता के रूप में प्रदान किया जाएगा।
Unified Pension Scheme vs Old Pension Scheme :
एकीकृत पेंशन योजना (UPS) और पुरानी पेंशन योजना (OPS) के बीच एक महत्वपूर्ण अंतर यह है कि यूपीएस में, कर्मचारी को पेंशन के लिए अंशदान करना होता है, जबकि ओपीएस में कोई अंशदान आवश्यक नहीं था।
OPS में, पेंशन पूरी तरह से सरकार द्वारा वित्त पोषित होती थी, जिसमें कर्मचारी को बिना किसी कटौती के अंतिम वेतन का 50% पेंशन के रूप में मिलता था। यूपीएस में, कर्मचारी के वेतन का एक निश्चित हिस्सा (आमतौर पर 10%) पेंशन फंड में जाता है, जो पेंशन राशि निर्धारित करने में मदद करता है। यह अंतर कर्मचारी की वित्तीय भागीदारी और पेंशन गारंटी के दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है।
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Unified Pension Scheme में यह बदलाव क्यों किया गया?
साथियों पुरानी पेंशन स्कीम को लेकर इसमें बदलाव इसी वजह से किया गया क्योंकि सरकार पर वित्तीय बोझ कम होगा और यूनिफाइड पेंशन प्रणाली को लंबे समय के लिए योजनाबद्ध तरीके से टिकाऊ बनाना है पुरानी पेंशन बहाली में सरकार पूर्ण रूप से पेंशन बहन करती थी जिसमें कर्मचारियों को अंतिम वेतन का 50% पेंशन के रूप में दिया जाता था, यूपीएस में कर्मचारियों का अंशदान 10% और सरकार का योगदान मिलकर एक फंड बनाया गया है जिसके रिटर्न के आधार पर कर्मचारियों को पेंशन प्रदान की जाएगी।
एकीकृत विस्तृत योजना की विशेषता क्या है.!
- कर्मचारी अपने मूल वेतन और महंगाई भत्ते का 10% योगदान देता है, जबकि सरकार 18.5% योगदान देती है, और यह राशि पेंशन फंड में जमा की जाती है।
- यूपीएस कर्मचारियों को न्यूनतम 50% पेंशन की गारंटी दी जाती है, जो 25 वर्ष या उससे अधिक की सेवा अवधि पर लागू होती है। 10-25 वर्ष की सेवा अवधि पर आनुपातिक पेंशन प्रदान की जाती है।
- मुद्रास्फीति के प्रभाव को कम करने के लिए पेंशन राशि को महंगाई भत्ते के आधार पर समय-समय पर समायोजित किया जाएगा।
- कर्मचारी की असामयिक मृत्यु होने पर, उनके परिवार को पारिवारिक पेंशन के रूप में अंतिम पेंशन का 60% प्राप्त होगा।
- सेवानिवृत्ति पर, कर्मचारी को एकमुश्त राशि प्राप्त होती है, जो राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली के तहत संचित निधि का हिस्सा बनती है।
- कर्मचारियों को यूपीएस या एनपीएस में से चुनने का विकल्प दिया जाता है, जिससे उन्हें अपनी पसंद के अनुसार लचीलापन मिलता है।
डिस्क्लेमर – यह जानकारी महज सूचना के लिए प्रदान की जा रही है इसका वास्तविक जीवन से कोई महत्वपूर्ण नुकसान नहीं होने वाला है अधिक जानकारी के लिए आप सरकार की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर सूचना प्राप्त कर सकते हैं।
FAQ’S –
Q – यूनिफाइड पेंशन स्कीम क्या है?
- रिटायरमेंट के बाद कर्मचारियों को आर्थिक सहायता के तौर पर उच्चतम पेंशन प्रदान करती है जिसमें सरकार की आधी भागीदारी होती है।
Q. UPS और NPS पेंशन योजनाओं में क्या अंतर हैं?
- UPS सरकारी कर्मचारियों के लिए एक सुरक्षित विकल्प है, वहीं NPS निजी क्षेत्र के कर्मचारियों और स्व-नियोजित व्यक्तियों के लिए उपयुक्त है।